Dr. Hedgewar kept close links with the revolutionary organizations in Punjab and Calcutta. #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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“दूसरों से सहायता की आशा करना या भीख मांगना किसी दुर्बलता का चिन्ह है| इसलिए बंधुओं निर्भयता के साथ यह घोषणा करो कि हिंदुस्तान हिन्दुओं का ही है | अपने मन की दुर्बलता को बिलकुल दूर भगा दो” – डॉ. केशव बलिराम हेडगेवार #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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डॉक्टर हेडगेवार देशभक्त और श्रेष्ठ संगठक थे। भारतीय दर्शन, संस्कृति तथा इतिहास का गहराई से अनुभव करने के कारण उन्हें तत्कालीन चुनौतियां, इनके समाधान की राह तथा भविष्य की संकल्पनाएं स्पष्ट थीं। #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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डॉक्टर हेडगेवार मानते थे कि भारत के वैभव , पतन , संघर्ष और उत्थान का इतिहास हिन्दुओं के सामाजिक उतार चढ़ाव के साथ जुड़ा हुआ है #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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Dr. Hedgewar was deeply rooted in the philosophy, culture and history of Bharat and simultaneously had a farsighted vision for the future. That’s why he was a visionary. #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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“केवल भूमि के किसी टुकड़े को तो राष्ट्र नहीं कहते| एक विचार एक आचार,एक सभ्यता एवं एक परम्परा से जो लोग पुरातन काल से चले आये हैं , उन्हीं लोगों से राष्ट्र बनता है|इस देश को हमारे ही कारण हिंदुस्तान नाम दिया गया है” -डॉ. केशव बलिराम हेडगेवार #डॉ_हेडगेवार_जयंती #DrHedgewarJayanti
अंतिम समय में डॉ. हेडगेवार का सन्देश
‘‘द्वितीय विश्व युद्ध प्रारम्भ होने जा रहा है -- बहुत शीघ्र शक्ति को अर्जित करो ताकि अंग्रेजों को भारत भूमि से उखाड़ा जा सके समय अनुकूल है’’ #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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संघ को समझना है तो प्रारंभ करना पड़ता है डॉ. हेडगेवार से संघ के वे निर्माता थे इसलिए संघ के सारे कार्य में डॉ. हेडगेवार के मानस का प्रतिबिम्ब मिलता है – डॉ. मोहन भागवत , सरसंघचालक #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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केवल भूमि के किसी टुकड़े को तो राष्ट्र नहीं कहते| एक विचार एक आचार, एक सभ्यता एवं एक परम्परा से जो लोग पुरातन काल से चले आये हैं ,उन्हीं लोगों से राष्ट्र बनता है| इस देश को हमारे ही कारण हिंदुस्तान नाम दिया गया है” #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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केवल भूमि के किसी टुकड़े को तो राष्ट्र नहीं कहते| एक विचार एक आचार, एक सभ्यता एवं एक परम्परा से जो लोग पुरातन काल से चले आये हैं,उन्हीं लोगों से राष्ट्र बनता है| इस देश को हमारे ही कारण हिंदुस्तान नाम दिया गया है” - डॉ. केशव बलिराम हेडगेवार #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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“दूसरों से सहायता की आशा करना या भीख मांगना किसी दुर्बलता का चिन्ह है| इसलिए बंधुओं निर्भयता के साथ यह घोषणा करो कि हिंदुस्तान हिन्दुओं का ही है | अपने मन की दुर्बलता को बिलकुल दूर भगा दो” – डॉ. केशव बलिराम हेडगेवार #डॉ_हेडगेवार_जयंती
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प्रसिद्ध क्रांतिकारी त्रिलोकीनाथ चक्रवती की पुस्तक “जेल में तीस वर्ष” के पृष्ठ 77-78 में लिखा है –‘ क्रांतिकारी नलिनी किशोर ने ही हेडगेवार, नारायण सावरकर एवं अन्य छात्रों को अनुशीलन समिति में प्रवेश दिलाया था।“
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